भारतीय कप्तान रोहित शर्मा और धूर्त लेग स्पिनर युजवेंद्र चहल को शुक्रवार को भारतीय पत्रकारों के साथ गर्मागर्म बहस करते देखा गया। रविवार (28 अगस्त) को जब भारतीय खिलाड़ी हाई वोल्टेज क्लैश की तैयारी कर रहे थे तब पत्रकार सीमा रेखा पर तैनात थे।
इससे पहले चहल की निजी जिंदगी को मीडिया ने कई मौकों पर निशाना बनाया था, जिसने काफी चर्चा बटोरी थी। हालांकि, बाद में उन्होंने सभी भ्रांतियों और भ्रम को दूर कर दिया गया है। कई विशेषज्ञों ने कहा कि किसी के निजी जीवन पर अनावश्यक ध्यान नही देना चाहिए।
यह देखना घृणित था कि कैसे एक खिलाड़ी के निजी जीवन की को लेकर अजीब अटकलें लगाई जाती है, वह भी बिना किसी पुख्ता सबूत के।
कप्तान रोहित शर्मा भड़के:
रोहित शर्मा को यह कहते हुए सुना गया: “कौन है? बताओ?”, (रिपोर्टर कौन है बताओ)। रोहित ने पत्रकारों को उन पर कहानी बनाने के लिए भी ताना मारा क्योंकि माहौल इस मुद्दे को लेकर उतना अच्छा नहीं था।
बाद में चहल ने एक रिपोर्टर से मजाकिया टिप्पणी करते हुए कहा: “ये अंताक्षरी थोडी ही चल रही है। इधर अंताक्षरी खेले क्या? दोनों क्रिकेटर नाराज थे क्योंकि किसी को भी किसी के पास किसी की प्रतिष्ठा को नष्ट करने का अधिकार नहीं है।
चहल की पत्नी ने अपने नाम से चहल सरनेम को हटा दिया था। हालांकि, धनश्री ने साफ किया कि अफवाहों पर विश्वास न करें। एशिया कप से आगे जो इतना प्रतिष्ठित टूर्नामेंट है; इस तरह के विवाद होने से टीम के वातावरण में बाधा और खलल भी पड़ सकता है।
रोहित शर्मा ने तोड़ा कोविड-19 प्रोटोकॉल
कोविड -19 को तोड़कर भारतीय कप्तान मुश्किल में पड़ गए हैं। रविवार (28 अगस्त) को भारत बनाम पाकिस्तान मुकाबले से पहले उन्हें पाकिस्तानी प्रशंसकों को गले लगाते देखा गया।
खिलाड़ियों को किसी भी दर्शक के साथ किसी भी शारीरिक संपर्क की अनुमति नहीं है क्योंकि कोविड -19 एक बार फिर शुरू हो गया है।
यह देखना दिलचस्प होगा कि आईसीसी इस तरह के उल्लंघन पर रोहित के विरुद्ध क्या कार्रवाई करती है। यदि उन्हें बहुप्रतीक्षित संघर्ष में भाग लेने की अनुमति नहीं दी गई तो भारत को एक बड़ा झटका लगेगा।
इससे पहले विराट कोहली को एक सेल्फी में पाकिस्तानी फैनगर्ल के साथ देखा गया। ऐसा लगता है कि भारतीय क्रिकेटरों की पाकिस्तान में भी बहुत बड़ी फैन फॉलोइंग है। यह कहना गलत नहीं होगा कि भारतीय और पाकिस्तानी प्रशंसक एक साथ आ रहे हैं और यह बयान दे रहे हैं कि क्रिकेट के खेल को युद्ध नहीं माना जाना चाहिए।